बालों का चुम्बकीय होना: जब आप बालों को कंघी से रगड़ते हैं तो कंघी में नकारात्मक आवेश जमा हो जाता है, जिससे बालों पर सकारात्मक आवेश उत्पन्न होता है और कंघी को बालों की ओर आकर्षित करती है।

 आपने बिजली के उत्पत्ति के बारे में सही जानकारी दी है। आइए इसे और विस्तार से समझें:

1. स्थैतिक विद्युत (Static Electricity):

स्थैतिक विद्युत तब उत्पन्न होती है जब दो वस्तुएं आपस में रगड़ी जाती हैं, जिससे एक वस्तु में अतिरिक्त इलेक्ट्रॉन (नकारात्मक आवेश) जमा हो जाते हैं, और दूसरी वस्तु में इलेक्ट्रॉन की कमी (सकारात्मक आवेश) हो जाती है। यह आवेश एक जगह स्थिर रहता है, जैसे ही इन वस्तुओं को अलग किया जाता है या एक दूसरे से संपर्क होता है, तो अचानक विद्युत प्रवाह उत्पन्न होता है, जिसे हम 'चमक' (Spark) के रूप में देख सकते हैं।

उदाहरण:

  • बालों का चुम्बकीय होना: जब आप बालों को कंघी से रगड़ते हैं तो कंघी में नकारात्मक आवेश जमा हो जाता है, जिससे बालों पर सकारात्मक आवेश उत्पन्न होता है और कंघी को बालों की ओर आकर्षित करती है।

2. धारात्मक विद्युत (Current Electricity):

यह विद्युत तब उत्पन्न होती है जब विद्युत ऊर्जा एक स्रोत (जैसे बैटरी या जनरेटर) से निरंतर प्रवाह के रूप में उपकरणों में बहती है। इस प्रवाह को धारात्मक विद्युत कहा जाता है। इसका उपयोग हमारे रोज़मर्रा के उपकरणों जैसे बल्ब, पंखे, टेलीविज़न आदि में होता है। इस विद्युत प्रवाह को करंट (Current) कहा जाता है, और इसे आमतौर पर एम्पियर (Ampere) में मापा जाता है।

3. वोल्टेज (Voltage):

वोल्टेज विद्युत के दबाव को दर्शाता है, जो इलेक्ट्रॉनों को एक स्थान से दूसरे स्थान पर प्रवाहित होने के लिए प्रेरित करता है। इसे विद्युत दबाव भी कहा जा सकता है। वोल्टेज की माप वोल्ट (Volt) में होती है। उच्च वोल्टेज से अधिक प्रवाह (करंट) उत्पन्न होता है।

4. करंट (Current):

करंट विद्युत के प्रवाह को दर्शाता है। यह बताता है कि कितने इलेक्ट्रॉन एक निश्चित समय में एक निश्चित स्थान से गुजरते हैं। करंट का माप एम्पियर (Ampere) में होता है। यह विद्युत के "प्रवाह" को मापने का एक तरीका है।

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